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एक वर्ष का ये कैसा सुशासन , राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संविदा कर्मचारियों में आक्रोश ।

19 दिसम्बर को पूरे प्रदेश के 33 जिलों में दे रहे मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन एवं प्रेस-कांफ्रेंस

विष्णु सरकार के सुशासन में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों के लिए कुछ भी नहीं , एक वर्ष बाद भी नहीं मिला घोषित 27 प्रतिशत की राशि न ही नियमितीकरण


करोना योद्धा का ख्याल रखना भूले सरकार , बार बार झूठे वादों से एनएचएम कर्मचारी त्रस्त ….

रायगढ़ :- राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी अपने लंबित मांगों को लेकर लगातार संघर्ष करते आ रहे हैं. एक वर्ष की भाजपा सरकार विष्णु देव की सरकार पूर्ण होने पर सुशासन दिवस मनाया जा रहा है, लेकिन राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों को एक वर्ष कार्यकाल में किसी भी प्रकार से लाभ प्राप्त नहीं हुआ है, जिससे कर्मचारियों में भारी आक्रोश है।
लगातार झूठे वादों से त्रस्त इन कर्मचारी द्वारा अपने व्यथा बताने के लिए सभी जिला मुख्यालय में 19 दिसंबर को प्रेस के माध्यम से प्रेस कांफ्रेंस/आवेदन/विज्ञप्ति मुख्यमंत्री के नाम करने का फैसला लिया है.प्रदेश अध्यक्ष डॉ अमित मिरी द्वारा बताया गया की कोरोना कॉल में इन कर्मचारियों को कोरोना योद्धा का दर्जा दिया गया था, जो प्रदेश के आम जनता को आज भी मालूम हैं,उक्त कर्मचारियों द्वारा अपने जान को जोखिम में डाल कर राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के इन कर्मचारियों ने रात दिन काम करके प्रदेश की आम जनता की सेवा इलाज स्वास्थ्य व्यवस्था देखरेख लगन से किया था। उक्त कोरोना योद्धा द्वारा अपनी व्यथा समस्याओं को आम जनता तक पहुंचाने के लिए सभी 33 जिलों प्रेस कांफ्रेस कर अपनी व्यथा को फिर से आम जनता को बताएंगे। पुरे प्रदेश में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संविदा कर्मचारी द्वारा आयुष्मान आरोग्य मंदिर उप स्वास्थ्य केंद्र, प्राथमिक सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जिला अस्पतालों सहित मेडिकल कालेजों में 20 वर्षो भी ज्यादा समय से अल्प वेतन एवं कम सुविधा के बावजूद प्रदेश के आम आम जनता को सेवा देते आ रहे हैं, एनएचएम संविदा कर्मचारियों के अच्छे कार्यों के कारण पुरे प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्था गुणवत्ता में लगातार वृद्धि भी हो रहा है. अच्छे कार्यों के कारण इन अस्पतालों को राष्ट्रीय गुणवत्ता मानक व्यवस्था पुरस्कार से भी सम्मानित किया जा रहा है।

कर्मचारियों ने बताया की उनका वेतन इतना काम है कि अपने परिवार के लालन-पालन दैनिक दिनचर्या की वस्तु खरीदने के लिए भी असमर्थ रहते हैं, खुद की जान को जोखिम में डालकर इन कर्मचारियों ने करोना कॉल प्रदेश की जनता की सेवा किया हैं जो आज भी आम जनता के दिल में विद्यमान हैं।
कुछ दिन पूर्व प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री श्री श्याम बिहारी ने मीडिया के समक्ष इन कर्मचारियों की वेतन में 27% की वृद्धि की घोषणा किया था जो आज भी अप्राप्त हैं।
लगातार इन कर्मचारियों द्वारा प्रदेश की मुख्यमंत्री विष्णु देव सांय, उपमुख्यमंत्री अरुण साव, विजय शर्मा सहित सभी मंत्रियों को आवेदन निवेदन देकर उनके वादा को याद दिलाते आ रहे हैं।
ज्ञात हो की पिछले सरकार के 31 दिन के आंदोलन में इन कर्मचारियों के मंच में भाजपा के प्रदेश पदाधिकारी डॉ रमन सिंह अरुण साव, विजय शर्मा, ओपी चौधरी, केदार कश्यप सहित प्रमुख नेता धरना स्थल में आ कर भाजपा सरकर बनने पर 100 दिवस के अंदर निराकारन की बातें किया गया था, भाजपा सरकार बनाने में इन कर्मचारियों का बड़ा योग दान रहा हैं, तथा पुरे प्रदेश में इनकी संख्या 16000 हजार से भी ज्यादा की हैं।
प्रदेश में सरकार एक वर्ष पूर्ण होने पर सुशासन दिवस मना रहा है. लेकिन उक्त संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों की ख्याल रखना ही भूल गया है जिससे कर्मचारियों में भारी आक्रोश एवं निराशा हैं।

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